कुशीनगर में सोमवार को एक फाइटर प्लेन हादसे का शिकार हो गया। फाइटर प्लेन एक खेत में गिरा जिसके बाद उसमें आग लग गई। इस हादसे में पायलट ने पैराशूट से कूदकर जान बचाई। बता दें कि इससे पहले पिछले साल 20 मार्च 2018 को भी एक वायुसेना का एक लड़ाकू विमान हादसे का शिकार हो गया था। इस हादसे में पायलट में पायटल सुरक्षित बच गया अपने बचने के साथ सैकड़ों लोगों की भी जान बचाई।बताया जाता है आसमान में ही विमान आग की लपटों में घिर गया था लेकिन पायलट की कोशिश थी कि विमान को आबादी से दूर ले जाकर गण्डक नदी में गिराया जाय लेकिन पायलट की यह कोशिश पुरी तरह से कामयाब नही हो सकी और विमान नदी और आबादी के बिच में गिर गया।विमान गिरने से पहले पायलट ने विमान को आटो मोड में डालकर पैरासूट के माध्यम से कूद गये जिससे आबादी भी आग से बच गई व पायलट की जान भी बच गई । विमान के गिरने से उसमें आग लग गई और देखते ही देखते विमान खाक में बदल गया ।बताय जा रहा है कि विमान नियमित अभ्यास पर था। सोमवार को भारतीय वायुसेना का जगुआर लड़ाकू सिंगल सीटर विमान वायुसेना स्टेशन से उड़ान भरने के बाद भारतीय वायुसेना का जगुआर लड़ाकू विमान कुशीनगर में हेतिमपुर इलाके में दुर्घटनाग्रस्त हो गया।
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